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क्यों दीवारों मे क्रैक आते है, How to Repair Wall Cracks

क्यों दीवारों मे क्रैक आते है: (How to Repair Wall Cracks) बहुत सारा पैसा खर्च करने के बाद हम जो है अपने सपनों का घर बनवा लेते है और कुछ सालों बाद देखते हैं कि हमारे दीवारों के ऊपर जो है वो क्रैक दिखाई देने लगे हैं अब क्रैक तो दीवारों पे होते हैं पर दर्द जो है वो दिल में होता है क्योंकि हमें ऐसा लगता है की कही घर बनाते समय कुछ ऐसी गलतियाँ तो नहीं हो गई है जिसकी वजह से आपका घर जो है वो कमजोर हो गया है।

दीवारों के क्रैक के प्रकार

क्रैक हम दीवारों के ऊपर देखते है वो अलग अलग प्रकार के होते हैं जैसे की कुछ एकदम सीधे लाइन में होते हैं, कुछ होरिजॉन्टल होते हैं और कुछ क्रैक एकदम तिरछे होते हैं 

यानी की एकदम इन क्लाइंट होते हैं और खास करके वो अपने खिड़कियों के कोने में देखे होंगे और कुछ एयरलाइन क्रैक भी आपने देखे होंगे जो कि मकड़ी के जाले के तरह आपके पूरे दीवार के ऊपर होते हैं और ये जो क्रैक होते हैं इनके साइज भी कम या फिर ज्यादा होते है कुछ क्रैक एक या फिर तीन एमएम तक होते हैं तो कुछ क्रैक जो है वो आधे इंच तक आपको दिखाई देते हैं।

क्रैक आने के क्या रीज़न होते हैं?

पहला रीज़न :

फाउंडेशन सेटलिंग क्रैक इस तरह के क्रैक आपके घर का जो फाउंडेशन होता है वो सेटल यानी की थोड़ा सा बैठ जाता है इस वजह से आपके घर की जो दीवारें और फ्लोर होता है वहाँ पर आपको क्रैक आसानी के साथ दिखाई देते हैं अब जैसे जैसे सैटलमेंट बढ़ती जाती है, उसी तरह से क्रैक जो है वो भी बढ़ते रहते हैं

दूसरा रीज़न :

टेम्परेचर चेंजेस बिल्डिंग बनाने के लिए हम जो मेटल इस्तेमाल करता है, उसमें जो एक्स्पैन्शन और कॉन्ट्रैक्शन होता है, इस वजह से ये क्रैक दिखाई देते हैं हालांकि ज्यादातर इस तरह के क्रैक ज्यादा बड़े नहीं होते हैं इस तरह के क्रैक आपने प्लास्टर के ऊपर भी देखे होंगे और जहाँ पर आपका दीवारों का और कॉलम का जॉइंट होता है, वहाँ पर आपने ये क्रैक अक्सर ही देखे होंगे ये बहुत ही कॉमन होते हैं।

आरसीसी फ्रेम स्ट्रक्चर में इस तरह के क्रैक से अगर आपको बचना है तो जब आपके घर का काम चलता है तो एक ब्रिक वर्क और कॉलम इन दोनों के बीच में आपको चिकन मेष या फिर फाइबर मैश का का इस्तेमाल कर लेना है।

जिससे कि इस तरह के क्रैक जो है वो आगे चलके ना हो और अगर आप की दीवार बन चुकी है और कुछ सालों बाद आपको दीवार और कॉलम इन दोनों के बीच में क्रैक दिखाई दे रहा है तो आपको क्या करना चाहिए? इसके लिए आप के सामने दो विकल्प होते हैं एक तो होता है क्रैक फिलर आज कल बहुत सारे कंपनी के क्रैक फिलर आने लगे हैं जैसे की आप का पिडालाइट क्रैक्स पेस्ट का इस्तेमाल कर सकते हैं या फिर अगर बड़ा क्रैक है।

तो वहाँ पर क्रैकस स्ट्रिंग का इस्तेमाल कर सकते हैं या फिर और यहाँ पर दूसरा विकल्प आपके सामने होता है की आपको जो प्लास्टर है उसे पहले तो निकाल लेना है यानी की कॉलम के साइड में आप सात से लेके आठ इंच तक निकालना है ब्रेक वॉल के साइड में आपको सात से लेके आठ इंच तक निकाल लेना है उसके ऊपर आपको चिकन मैश को प्लेस करना है अच्छे से सीमेंट पेस्ट करने के बाद उसके ऊपर अप्लाई कर लेना है और वापस से उसके ऊपर प्लास्टर कर लेना है 

तीसरा रीज़न :

पुअर कंस्ट्रक्शन अगर आपने प्रॉपर मिक्स नहीं लिया है, पुअर क्वालिटी का मटीरियल इस्तेमाल किया है तो आपको दीवारों के ऊपर आसानी के साथ क्रैक दिखाई दे सकते हैं तो इसीलिए जब भी मटेरियल का इस्तेमाल करें तो अच्छी क्वालिटी का मटीरियल इस्तेमाल कीजिए और मटीरीअल का सही प्रोपोर्शन में इस्तेमाल होना भी जरूरी है

चौथा रीज़न :

अक्सर ही आपने अपने इलेक्ट्रिकल बोर्ड के आसपास देखे होंगे या तो वो सीधे लाइन में होंगे या फिर होरिजॉन्टल लाइन में होंगे जहाँ पर को कॉन्सिल इलेक्ट्रिकल वर्क किया जाता है वहाँ पर अक्सर इस तरह के क्रैक्स दिखाई देते हैं इस तरह के क्रैक आने का कारण ये होता है की जब भी कॉन्सिल इलेक्ट्रिकल वर्क किया जाता है तो दीवारों के अंदर जो पाइप फिक्स किया जाता है, उसके ऊपर डाइरेक्टली प्लास्टर को अप्लाइ किया जाता है इसी के कारण प्लास्टर को अच्छे से ग्रिप नहीं मिल पाती है और इस तरह के क्रैक जो है वो आगे चलकर आपको दिखाई देते हैं

ऐसे क्रैक से अगर आप बचना चाहते हो तो जब भी आप का प्लास्टर इन वर्क शुरू होने वाला होता है उससे पहले जब आप इलेक्ट्रिकल वर्क के लिए छड़ी मारते हो यानी कि इस तरह का दीवार में कट लगाते हो तो वो जो कट आप लगवाते हो वो सिर्फ पाइप के विद जितना नहीं होना चाहिए पाइप की बीड से वो थोड़ा सा ज्यादा मोटा होना चाहिए इससे फायदा यह होगा कि प्लास्टर का जो मोटर है वो अंदर तक घुस पाएगा और प्लास्टर को अच्छी ग्रिप दे पाएगा

जब भी आपका पाइपिंग वर्क खत्म हो जाता है तो प्लास्टर से पहले आपको उस पाइप के ऊपर जो है फाइबर में मैश लगवा लेनी है और उसके बाद जाकर आपको प्लास्टर करवाना है जिससे की आगे चल के आपको उसके ऊपर क्रैक नहीं दिखाई देगा।

पांचवा रीज़न :

ओवरलोडिंग की वजह से आपके दीवार के ऊपर दिखाई देते हैं इस तरह के क्रैक जो है वो दीवार के ऊपर अतिरिक्त लोड बढ़ने के कारण आपको दिखाई देते हैं और देखिये दोस्तों ये जो क्रैक्स होते हैं इसके और भी कुछ कारण होते हैं जैसे की अगर आपके घर के आस पास कोई बड़ा पेड़ है तो उसके रूट अगर आपके लिंट में घुस जाते हैं और थोड़े से बढ़ जाते हैं तो इस वजह से भी आपको दीवारों के ऊपर क्रैक दिखाई दे सकते हैं अब इनमें से कुछ क्रैक आपने प्लास्टर के ऊपर देखे होंगे जो की हेयर लाइन क्रैक्स होते हैं,

तो यहाँ पर ये तो कॉमन ली आपके घर के ऊपर दिखाई देते हैं उसके बाद में दीवारों के ऊपर जो क्रैक होते है वो तीन एमएम से अगर छोटे हैं तो वहाँ पर आपको ज्यादा चिंता करने की आवश्यकता नहीं होती है पर अगर आपके दीवारों के ऊपर तीन एम से लेके दस एवं से भी ज्यादा बड़े क्रैक आपको दिखाई दे रहे हैं तो ऐसे समय में आपको आपके इंजीनियर से कंसल्ट जरूर कर लेना चाहिए और इस तरह के क्रैक का आपको अच्छे से निरीक्षण करना है और ये जरूर ध्यान देना है की कही वो क्रैक बढ़े तो नहीं हो रहे हैं।

निष्कर्ष

अगर आपके दीवारों के ऊपर क्रैक आते हैं तो उसके क्या सलूशन है? पर ये जरूर ध्यान में रखिए कि जब भी आप क्रैक अपने दीवारों के ऊपर देखते है तो उसका क्या कारण है? ये पहले जान लीजिये और उसके बाद जाकर आप उस क्रैक को ट्रीट कीजिये क्योंकि बिना कारण जाने अगर आप उस क्रैक को ट्रीट करेंगे तो आगे चलके वापस से आपको क्रैक दिखाई देंगे तो इनमें से कौन से टाइप के क्रैक आपके दीवारों के ऊपर दिखाई दे रहे हैं? कंमेंट बॉक्स में कमेंट जरूर कीजिये।

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